भगवान शंकर ला का का अर्पन करे जाथे
भगवान शंकर ला सबले अधिक भांग हर भाथे..,भांग अउ गांजा भगवान ला चढाऐ जाथे । कहे जाथे ना कि लोहा ला लोहा हर काटथे । ,जहर ला जहर काटथे..।.विषपान तो कर लिन संसार ला बचाये बर., फेर ओकर ताप हर तो रहबे करही ।ओ...
View Articleभगवान शंकर के अनेक नाव
सावन आ गे संगवारी हो, ये मौसम धरती बर जरूरी हे । किसान मन बर जरूरी हे ।ये पूरा महिना हर भगवान शंकर के भी मन पसंद हे । “देवों के देव”महादेव के पूजा अराधना के बेरा हवे,हमार कतको संगी मन कांवर बोह के जल...
View Articleसावन अऊ शिव
सावन महिना में शिव , सावन अऊ सोमवार के विशेष महत्व हे । एकरे पाय छोटे से लेकर बडे़ तक सावन सोमवारी ल मनाथे । सावन महिना के सोमवार के पूजा अऊ उपवास करे से भगवान शिव ह जल्दी प्रसन्न होथे । ये व्रत ह बहुत...
View Articleसमे समे के गोठ ये
🔊 ये रचना ला सुनव सांच ल आंच काय हे जेन मेर गलत दिखते तेला बोले बर पड़ही, जेन ह हमर छतीसगढ़ के माटी के अपमान करही, जेन ह ईहाँ के मया ल लात मारही अऊ जेन मनखे ह ईहा के जर जमीन जंगल के सत्यानाश करे बर उमड़े...
View Articleप्रेमचंद के काहनी अऊ छत्तीसगढ़
🔊 ये रचना ला सुनव प्रेमचंद ल छत्तीसगढ़ के लईका सियान सबो जानथे उखर काहनी इस्कूल अऊ कालेज म पढ़ाय जाथे, प्रेमचंद ल हिन्दी काहनी के सम्राट कहे जाथे काबर कि वो हा 300 ले आगर काहनी लिखे हावय, ओला उपन्यास...
View Articleबादर गरजत हे
🔊 ये रचना ला सुनव सावन भादो के झड़ी में, बादर ह गरजत हे । चमकत हे बिजली, रहि रहि के बरसत हे । डबरा डबरी भरे हाबे , तरिया ह छलकत हे । बड़ पूरा हे नदियाँ ह जी , डोंगा ह मलकत हे । चारों कोती खेत खार ,...
View Articleभाई -बहिनी के तिहार –राखी
(राखी तिहार विशेष) भाई बहिनी के सबले पवित्र तिहार हरे राखी ह। बचपन में भाई बहिनी मन कतको लड़ई झगरा होत राहय, फेर राखी के दिन ओकर मन के प्रेम ह देखे बर मिलथे । राखी तिहार के अगोरा भाई बहिनी दूनो झन मन...
View Articleमया-दुलार:राखी तिहार
मया, दया अउ दुलार के चिन्हार राखी तिहार। राखी तिहार ला रक्छा बंधन के नाँव ले हमर देश भर मा सावन पुन्नी के दिन मनाय जाथे। राखी तिहार हा भाई-बहिनी के तिहार माने जाथे। ए दिन हर बहिनी मन हा अपन भाई मन के...
View Articleलोग लइका बर उपास –कमरछट के तिहार
छत्तीसगढ़ ल धान के कटोरा कहे जाथे । काबर इंहा धान के फसल जादा होथे ।इंहा के जादातर मनखे मन ह खेती के काम करथे । किसान मन ह अपन खेत में हरियर हरियर धान पान ल देख के हरेली तिहार मनाथे । हरेली तिहार के...
View Articleमाटी के मया सियान मन के सीख
सियान मन के सीख ला माने मा ही भलाई हे। संगवारी हो तइहा के सियान मन कहय-बेटा! माटी के अबड़ मया़ होथे रे। फेर हमन उॅखर बात ला बने ढंग ले समझ नई पाएन। संगवारी हो जब हमन छोटे-छोटे रहेन तब हमन ला प्राथमिक...
View Articleतिरंगा कब ऊंच होही ?
रिगबिग सिगबिग चारों मुड़ा दिया कस बरत रहय झालर लट्टू। झिमिर झिमिर गिरत पानी बरसात म, किंजरे बर निकले संकर भगवान पूछत रहय – काये होवथे पारबती। पारवती मइया किथे – तहूं कहींच नी जानस भगवान, पनदरा अगस्त के...
View Articleसबके पार लगइया –किसन कन्हैया
कृष्ण जन्माष्टमी ल पूरा देस में धूमधाम से अऊ बहुत उल्लास के साथ मनाये जाथे।काबर इही दिन भगवान सिरी किसन कन्हैया के जनम होय रिहिसे । जन्माष्टमी ल भारत भर में ही नही बल्कि बिदेस में बसे भारतीय मन भी ऊंहा...
View Articleमाटी के गनेस बइठारव-पर्यावरण के मान बढ़ावव
माटी के मुरति सबले सुग्घर, चिक्कन-चाँदन अउ श्रेष्ठ माने गए हावय। माटी के मुरति हा जिनगी के सुग्घर अउ सिरतोन संदेश ला बगराथे के जौन जिहाँ ले आये हे उँहें एक दिन खच्चित लहुठ जाथे। नदिया के चिक्कन माटी...
View Articleमोर इस्कूल के गनेस
बच्छर बीत गे,फेर जब गनेस परब आथे तब पढ़ई के बेरा इस्कूल म बइठे गनेस के सुरता आ जाथे। दस दिन ले पढ़ई के संगेसंग भक्ति अऊ नाना परकार के आयोजन अंतस म समा के खुसी देथे।खपरा छानी वाला माटी के सरकारी मिडील...
View Articleतीजा-पोरा के तिहार
छत्तीसगढ़ में बहुत अकन तिहार मनाये जाथे अऊ लगभग सब तिहार ह खेती किसानी से जुडे रहिथे। काबर के छत्तीसगढ़ में खेती किसानी जादा करथे। वइसने किसम से एक तिहार आथे पोरा अऊ तीजा के। पोरा तिहार ल भादो महिना के...
View Articleनउकरी लीलत हमर तीजतिहार
असाढ़ के लगते ले हमर तीज तिहार सुरु हो जाथे।अइसे तो छत्तीसगढ़ मा बारो महिना तिहार मनातन। चइत के पहिली दिन ले सुरु होय तिहार मा नानम परकार के स्थानीय, परंपरागत अउ रास्टीय तिहार ल बिन भेदभाव के मनाथन।...
View Articleलइका मन के देवता गनेस : सियान मन के सीख
सियान मन के सीख ला माने मा ही भलाई हे। संगवारी हो तइहा के सियान मन कहय-बेटा! भगवान गनेस हर छोटे-छोटे लइका मन के घलाव देवता हरै रे। फेर संगवारी हो हमन उॅखर बात ला बने ढंग ले समझ नई पाएन। जइसे गनेस पाख...
View Articleगुरुजी बने परीक्षा देयबर परही
सरकार के एकठन आदेस घूमत हे तेला पढ़के गुरजी मन के चेत हरागे हे। जौन गुरुजी के 12वीं अऊ कालेज मा 50 परतिसत ले कम नम्बर होही तौन ल परीच्छा देय बर परही।बिन डी एड,बी एड के परीच्छा पास करे गुरुजी बन गेहे वहू...
View Articleसिक्छक सिखही तभे सिखाही
हमन नान्हेंपन ले पढ़त आवत हन के सिक्छक हा मोमबत्ती कस होथे जेन हा खुद जर के, खुद खुवार हो के दुसर ला अंजोर देथे। ए बात सोलाआना सिरतोन हरय के सिक्छक हा अपन आप ला परहित मा निछावर करइया जीव हरय। जिनगी भर...
View Articleपीतर पाख
हमर हिंदू धरम के अनुसार जेखर जनम होय हाबय ओखर मरना निसचित हाबय। अपन परिवारदार के सरगवासी होय के बाद पितर मिलाथन। भादो के उजियारी पाख पुन्नी से लेके असवीन मास के अमावस तक हमन अपन पितर देवता मन के...
View Article